पलियाकलां-खीरी। विश्व विख्यात दुधवा नेशनल पार्क को फेस टू गैंडा
पुनर्वास योजना के अंतर्गत फेस 2 में एक गैंडा छोड़ कर बड़ी उपलब्धि हासिल हुई है।
बताते चलें कि दुधवा नेशनल पार्क में इससे पहले गैंडा पुनर्वास योजना के
तहत सोनारी पुर रेंज में फेस वन योजना 27 वर्ग किलोमीटर में चालू की गई थी जिसमें
लगभग 34 जेंडर रह रहे थे। इसी को दृष्टिगत रखते हुए गेंदों की जनसंख्या में और
इजाफा करने के उद्देश्य से दुधवा नेशनल पार्क की बेलराया रेंज मे झादी ताल के पास
साडे 13.5 वर्ग किलोमीटर में फेस टू बनाया गया। जिसमें मंगलवार को एक मादा गैंडा
और बुधवार को एक मादा और एक नर गैंडा छोड़ कर पार्क प्रशासन को बड़ी सफलता हासिल
हुई।
फेस-2 में गैंडे को छोड़ते समय डिप्टी डायरेक्टर दुधवा महावीर कौंजलगीए
आसाम से आए गैंडा विशेषज्ञ डॉ अमित शर्मा, ट्रेंकुलाइज विशेषज्ञ डॉक्टर के के
शर्मा, डब्ल्यूडब्ल्यूएफ से मुदित गुप्ता, परियोजना अधिकारी दबीर हसन, वरिष्ठ जंतु
वैज्ञानिक आशीष बिष्ट, रोहित रवि, राधेश्याम भार्गव, अविनाश, डब्ल्यूपीआई से
फ्रांसिस, कतर्नियाघाट फाउंडेशन फजलुर्रहमान, बेलरायां रेंजर अशोक कश्यप, दक्षिणी
सुनारीपुर के रेंजर कलीम अहमद, पशु चिकित्सक डॉ भास्कर, डॉ रितिका, डॉ सौरभ सिंघई
सहित पार्क प्रशासन के अधिकारी व कर्मचारी मौजूद रहे।
अब होगा और इजाफा
दुधवा नेशनल पार्क के उपनिदेशक महावीर कौंजलगी से वार्ता करने पर उन्होंने
बताया कि फेस-2 में अभी तक 3 गैंडो को छोड़ा जा चुका है जो कि पार्क के लिए
गौरवपूर्ण है इससे इनकी जनसंख्या में और इजाफा होगा।
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